सुन्नी बहुल राष्ट्र सीरिया में बशर अल-असद की 24 साल पुरानी सत्ता कुछ ही दिनों के युद्ध में समाप्त हो गई।
विद्रोही गुट हयात तहरीर अल-शाम ने सीरिया पर कब्जा कर लिया है।
बशर अपने परिवार के साथ देश छोड़कर भाग चुके हैं। सीरिया में 50 साल पुराने असद परिवार के शासन की कहानी खत्म होते ही इजरायल हरकत में आ गया है।
बेंजामिन नेतन्याहू के आदेश पर इजरायली सेना सीरियाई क्षेत्र में 14 किलोमीटर अंदर तक घुस गयी है। इजरायली सेना टैंक और पैदल सैनिकों के साथ सीरियाई इलाकों पर कब्जा करते हुए आगे बढ़ रही है। राजधानी दमिश्क समेत कई बड़े नगरों पर इजरायली वायु सेना ने बमबारी भी की है।
इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने रविवार को गोलान हाइट्स की यात्रा के दौरान कहा,“इजरायल सीरिया में हो रहे घटनाक्रम पर बारीकी से नजर रखेगा और इजरायल की सीमाओं तथा सुरक्षा की रक्षा के लिए हरसंभव प्रयास करेगा।
” उन्होंने कहा कि इजरायल सीरिया में रहने वाले सभी लोगों के साथ अपनी अच्छी पड़ोस नीति के प्रति प्रतिबद्ध रहेगा। उन्होंने कहा, “हम अच्छी पड़ोस की नीति को जारी रख रहे हैं, जिसे हमने तब लागू किया था, जब हमने यहां (गोलान हाइट्स) एक फील्ड अस्पताल खोला था, जिसने गृहयुद्ध में घायल हजारों सीरियाई लोगों को सहायता प्रदान की थी। सैकड़ों सीरियाई बच्चे यहां, इजरायल में पैदा हुए हैं। इसी तरह हम सीरिया में अपनी सीमा से परे सभी लोगों के लिए शांति का हाथ बढ़ाते हैं। ड्रूज, कुर्द, ईसाई और उन मुसलमानों के लिए जो इजरायल के साथ शांति से रहना चाहते हैं।”
इजरायल ने सीरियाई इलाकों पर क्यों कब्जा किया
इजरायली रक्षा मंत्री इजरायल कैट्ज ने रविवार को कहा कि इजरायली सेना ने कब्जे वाले गोलान हाइट्स में इजरायली बस्तियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सीरिया के साथ सीमा पर बफर जोन पर नियंत्रण कर लिया है।
कैट्ज़ ने कहा,“प्रधानमंत्री और मैंने मंत्रिमंडल की मंजूरी से आईडीएफ को बफर जोन और प्रमुख स्थानों पर कब्जा करने का आदेश दिया, ताकि गोलान हाइट्स पर स्थित सभी इजरायली बस्तियों – यहूदी और ड्रूज़ – की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके, ताकि उन्हें सीमा के दूसरी ओर से आने वाले खतरों के संपर्क में न लाया जा सके।”
दमिश्क समेत कई इलाकों पर बमबारी
इज़रायली वायु सेना ने सीरिया के दक्षिण और दमिश्क में हथियार डिपो पर हमला किया है। इज़रायल के कान न्यूज चैनल ने रविवार को इज़रायली सुरक्षा बलों में एक अज्ञात स्रोत का हवाला देते हुए अपनी रिपोर्ट में यह जानकारी दी।
इज़रायल ने कथित तौर पर यह कदम इस चिंता के कारण उठाया कि हथियार आतंकवादियों द्वारा जब्त किए जा सकते हैं। सीरियाई समाचार पत्र ‘अल-वतन’ ने बताया कि इससे पहले दिन में पश्चिमी दमिश्क के अल-मज़्ज़ह जिले में एक विस्फोट हुआ।